मानवाधिकार के तहत हर साल विश्व नींद दिवस मनाया जाता है, इसका उद्देश्य लोगों को नींद से जुड़ी समस्याओं के प्रति जागरूक करना है। अक्सर हम देखते हैं कि व्यक्ति अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए दिन-रात मेहनत करता है, जिसके कारण वह अपनी नींद भूल जाता है या उससे समझौता कर लेता है। जबकि नींद की कमी आपके स्वास्थ्य पर असर डाल सकती है। विश्व नींद दिवस हर साल वसंत विषुव से पहले मनाया जाता है। इस वर्ष विश्व नींद दिवस 15 मार्च को मनाया जाएगा। हर साल इसके जश्न के लिए एक थीम तय की जाती है.
विश्व नींद दिवस 2024 थीम
2024 में विश्व नींद दिवस की थीम 'वैश्विक स्वास्थ्य के लिए नींद की समानता' है। इसका मतलब है कि स्वस्थ रहने के लिए नींद बहुत जरूरी है, लेकिन कभी-कभी ऐसी स्थितियां होती हैं जिसके कारण लोग पर्याप्त नींद नहीं ले पाते हैं। जिसके कारण न केवल उनका शारीरिक स्वास्थ्य बल्कि मानसिक स्वास्थ्य भी ख़राब हो जाता है।
विश्व नींद दिवस 2024 का इतिहास
जहां एक ओर हमें फिट रहने के लिए स्वस्थ आहार लेने की सलाह दी जाती है, वहीं दूसरी ओर स्वस्थ रहने के लिए पर्याप्त नींद लेना भी उतना ही जरूरी है। नींद की कमी के कारण आप कई गंभीर बीमारियों का शिकार हो सकते हैं। खासकर बड़े शहरों में व्यस्त जीवनशैली के कारण ज्यादातर लोगों को रात में ठीक से नींद नहीं आती, जिसके कारण उन्हें कई शारीरिक और मानसिक समस्याओं का सामना करना पड़ता है। इन समस्याओं का समाधान ढूंढने के लिए वर्ल्ड स्लीप सोसाइटी ने स्लीप डे की शुरुआत की। इस दिन को मनाने की शुरुआत सबसे पहले साल 2008 में हुई थी. अब विश्व नींद दिवस 88 से अधिक देशों में मनाया जाता है।
विश्व नींद दिवस 2024 का महत्व
खराब खान-पान, व्यस्त जीवनशैली और तनाव के कारण ज्यादातर लोगों को रात में नींद नहीं आती है। जिसके कारण उनकी जीवनशैली खराब होती जा रही है। नींद की कमी से लोग जल्दी बीमार पड़ जाते हैं। इसके चलते लोगों को बीमारियों से बचाने और जागरूकता बढ़ाने के लिए विश्व नींद दिवस मनाने की शुरुआत हुई।